Tuesday 2 October 2018

जब भी कंप्यूटर में अकाउंटिंग के काम के बारे में बात की जाती है तो सबसे पहला नाम जो दिमाग में आता है वो है Tally है. अकॉउंटिंग में बहुत तरह के पेचीदा गणना करना होता है वो कंप्यूटर में बिना सॉफ्टवेयर के नहीं किया जा सकता है. इस तरह के मुश्किल कैलकुलेशन करने के लिए ही Tally काम में लाया जाता है. आपकी जानकारी के लिए बता दूँ की Tally का इस्तेमाल तो भारत में होता है अलावा कई अन्य देशों में भी Tally बहुत प्रचलित है. ये सॉफ्टवेयर बहुत साडी कंपनियों और अकॉउंटिंग से जुड़े लोगो के रोज़मर्रा काम आने वाला सॉफ्टवेयर है. लेकिन Tally की शुरुआत कैसे हुई ये बहुत कम लोगो को ही पता होगा. ये कितने काम का है ये तो अब आप समझ गए होंगे लेकिन इसकी जरुरत कब पड़ी इसी बात को चलिए आगे जानते हैं. टैली का इतिहास (History of Tally in Hindi) Shyam Sunder Goenka दोस्तों जैसा की मैंने पहले ही बता दिया है की Tally का निर्माण भारत के बैंगलोर स्थित कंपनी में कियस गया है. लेकिन Tally Solution कंपनी को पहले Peutronics के नाम से जाना जाता था. क्या आप जानते है टैली के जनक कौन है? सन 1986 में श्याम सुन्दर गोयनका और उनके बेटे भारत गोयनका ने मिलकर बनाया था. उस वक़्त श्याम सुन्दर गोयनका एक कंपनी चलाया करते थे जिससे की दूसरे प्लांट्स और टेक्सटाइल मिल्स को कच्चा माल और मशीन पार्ट्स सप्लाई करते थे. तो इस बिज़नेस को मैनेज करने के लिए उनके पास कोई ऐसा सॉफ्टवेयर नहीं था जिससे वो अपना हिसाब किताब आसानी से कर सके. तब उन्होंने अपने बेटे से कहा की एक ऐसा सॉफ्टवेयर बनाओ जिससे हम अपने बिज़नेस को आसानी से मैनेज कर सके. भारत गोयनका जो की मैथमेटिक्स में ग्रेजुएट थे उन्होंने अकॉऊंटिंग एप्लीकेशन के लिए सबसे पहला संस्करण MS – DOS एप्लीकेशन के रूप में लांच किया. इस में सिर्फ बेसिक अकॉउंटिंग फंक्शन थे. जिसका नाम Peutronics financial Accountant रखा गया. 1988 में इस प्रोडक्ट का नाम बदलकर पहली बार Tally रखा गया. 1999 में इस कंपनी ने formally कंपनी का नाम बदलकर Tally Solutions रखा. 2001 के साल में Tally के नए संस्करण यानि Tally 6.3 को लांच किया गया. ये संस्करण से थोड़ा एडवांस था क्यों की इस में Accounting के अलावा Educational उद्देश्य से उपयोग करने की योग्यता थी. इसके साथ इस में License की सुविधा भी दी गई. सन 2005 में Tally को और भी अच्छा डिज़ाइन के साथ बाजार में उतारा गया जिसमे सबसे मुख्या फीचर था Value Added Taxation (VAT). जो की भारतीय कस्टमर्स के लिए बहुत उपयोगी था. ये Tally 7.2 version था. 2006 में Tally के 2 version को release किया गया जिनमे से एक Tally 8.1 था और दूसरा Tally 9. ये Tally के maultilingual version थे. 2009 में इस कंपनी ने Tally ERP 9 एक Business management solution रिलीज़ किया. 2016 में GST Server और Tax Payers के बिच में interface के रूप में GST सुविधा प्रदान करने के लिए Tally Solutions को चुना गया और 2017 में कंपनी ने बिलकुल अपडेटेड GST Compliance Software लांच किया.

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